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चंडीगढ़: ऑपरेशन अमृतपाल सिंह मामले में पंजाब और हरियाणा हाईकर्ट ने मंगलवार को पंजाब सरकार को कड़ी फटकार लगाई है। हाईकोर्ट ने कहा कि पंजाब सरकार के पास इतना भारी पुलिस बल था। इसके बावजूद अमृतपाल को पकड़ने में पुलिस नाकाम रही है। यह पंजाब पुलिस की खुफिया नाकामी को दिखाता है।पुलिस के 80 हजार जवान क्या कर रहे थे। पुलिस का खुफिया तंत्र पूरी तरह से फेल रहा है।

हाईकोर्ट की फटकार के बाद पंजाब सरकार ने बताया कि अमृतपाल के ऊपर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून (एनएसए) लगा दिया गया है। अब इस मामले में चार दिन बाद सुनवाई होगी। वहीं कोर्ट ने पंजाब सरकार से मामले में स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने का आदेश दिया है।

दरअसल, 'वारिस पंजाब दे' संगठन के प्रमुख अमृतपाल सिंह को अवैध हिरासत में रखने का आरोप लगा पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में याचिका दाखिल की गई थी। बठिंडा निवासी इमरान सिंह ने हाईकोर्ट में यह याचिका दाखिल की थी। उन्होंने बताया था कि याचिकाकर्ता 'वारिस पंजाब दे' संगठन के कानूनी सलाहकार हैं।

उन्होंने बताया, इस संगठन के प्रमुख दीप सिद्धू थे और उनकी मौत के बाद यह पद अमृतपाल ने संभाला था। 18 मार्च को केंद्र सरकार ने पंजाब सरकार के साथ मिलकर जालंधर से अमृतपाल को अवैध हिरासत में ले लिया।

याचिकाकर्ता ने कहा कि अमृतपाल सिंह को अवैध हिरासत में लिया गया है और इसका कारण तक स्पष्ट नहीं किया गया है। अमृतपाल के परिजनों तक को इस संदर्भ में जानकारी नहीं दी जा रही है, जो उसकी जान को बड़ा खतरा है। याचिकाकर्ता ने सुरक्षित अवैध हिरासत से छुड़ाने का निर्देश जारी करने की हाईकोर्ट से अपील की थी। साथ ही वारंट ऑफिसर नियुक्त करने का पंजाब सरकार को निर्देश जारी करने की अपील भी की गई थी। अब इसी याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने पंजाब सरकार को फटकार लगाई है।

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