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चंडीगढ़: पंजाब सरकार ने कोरोना वायरस के मामले लगातार बढ़ते जाने के बीच लॉकडाउन (बंद) की अवधि एक मई तक के लिए बढ़ा दी । उसे संदेह है कि राज्य इस महामारी के सामुदायिक संक्रमण की ओर बढ़ रहा है। पंजाब सरकार ने यहां जारी एक बयान में कहा कि लॉकडाउन बढ़ाने का यह निर्णय वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से मुख्यमंत्री अमरिंदर सिंह की अध्यक्षता में हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में किया गया। इसका लक्ष्य इस महामारी को सामुदायिक स्तर पर फैलने तथा आगामी फसल कटाई एवं खरीद सीजन में मंडियो में भीड़ से बचना है।

मुख्यमंत्री ने ट्वीट किया, ‘‘ कोविड-19 से उत्पन्न स्थिति की गंभीरता को देखते हुए मंत्रिमंडल ने लॉकडाउन एवं कर्फ्यू एक मई तक बढ़ाने का निर्णय लिया। यह मुश्किल वक्त है और मैं सभी से घरों में ही रहने एवं स्वास्थ्य संबंधी सुरक्षा मानकों का कड़ाई से पालन करने की अपील करता हूं जैसा आपने अबतक किया है और मैं उसके लिए आभारी हूं।’’ उससे पहले विशेष मुख्य सचिव के बी एस सिद्धू ने ट्वीट किया‘‘(मुख्यमंत्री) अमरिंदर सिंह की अगुवाई में मंत्रिमंडल ने पंजाब कर्फ्यू/लॉकडाउन को 30 अप्रैल 2020/एक मई, 2020 तक बढ़ाने को मंजूरी दी।

चंडीगढ़: कोरोना वायरस के दहशत के बीच पंजाब से एक डरा देने वाला मामला सामने आया है। पंजाब में 18 मार्च को कोरोना वायरस से संक्रमित जिस मरीज की मौत हुई थी, माना जा रहा है कि राज्य में अब तक के 33 पॉजिटिव मामलों में से कम से कम 23 लोग उसी शख्स से संक्रमित हुए हैं। हालांकि, इस बात की पुष्टि किसी अधिकारी ने अब तक नहीं की है। बताया जा रहा है कि इस महीने की शुरुआत में 70 वर्षीय गुरुद्वारा के पुजारी अपने पड़ोस के गांव के दो दोस्तों के संग जर्मनी और इटली के दो सप्ताह के टूर पर गए थे।

विदेश से गांव लौटने के बाद उन्हें खुद को क्वारंटाइन करके रखना था, मगर उन्होंने ऐसा नहीं किया और इस दौरान काफी लोगों से भी मिले। वह 6 मार्च को दिल्ली आए थे और उसके बाद यहां से पंजाब गए थे। गुरुद्वारे के पुजारी के आने-जाने की गतिविधियों पर नजर रखने वाले अधिकारियों और उनसे संदिग्ध संक्रमितों से पता चला है कि वह 8-10 मार्च को आनंदपुर साहिब में एक कार्यक्रम में शामिल हुए थे और उसके बाद अपने शहीद भगत सिंह जिले में स्थित गांव लौट गए थे।

अमृतसर: कोरोना वायरस का प्रकोप देशभर में तेजी से फैलने के बाद जहां इसे रोकने के लिए एक तरफ देश में 21 दिनों का लॉकडाउन किया गया है तो वहीं दूसरी तरफ राज्य सरकारें अपने स्तर पर कई प्रयास कर रही हैं। इस बीच, दिल्ली के तिहाड़ जेल की तर्ज पर पंजाब सरकार ने कोरोना के चलते गुरुवार को एक महत्वपूर्ण फैसला लेते हुए जेल से भीड़ को कम करने के लिए 6 हजार कैदियों को पैरोल पर छोड़ने का फैसला किया है। पंजाब के जेल मंत्री सुखजिंदर सिंह रंधावा ने इस बात की घोषणा करते हुए कहा कि ऐसे कैदी जिन्हें सात साल से कम की सजा सुनाई गई है, उन छह हजार कैदियों को पैरोल पर छोड़ा जा रहा है।

तिहाड़ ने भी कोरोना के चलते कैदियों को छोड़ा

इससे पहले, तिहाड़ जेल प्रशासन ने ऐसा ही एलान करते हुए कहा कोरोना वायरस के चलते अगले 3-4 दिनों में करीब 3 हज़ार कैदी छोड़े जाएंगे।जिसमें 1500 कैदी ऐसे हैं जिन्हें कोर्ट से अलग अलग अपराधों में सज़ा हो चुकी है।

नई दिल्ली: देश में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच पंजाब में कर्फ्यू लागू कर दिया गया है। इस दौरान जरूरी सेवाओं को छूट मिलेगी। राज्य के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने यह आदेश दिया। देश में अब तक कोरोना संक्रमण के मामले बढ़कर 415 हो गए हैं। रविवार रात तक संक्रमित लोगों की संख्या 360 थी। इन आंकड़ों में 41 विदेशी नागरिक और अब तक हुई सात मौत शामिल है।

इससे पहले सोमवार सुबह केंद्र सरकार ने देश के 75 जिलों में जारी लॉकडाउन को लेकर राज्यों को पत्र लिखा था। केंद्र ने राज्य सरकारों से कहा है कि कोरोना वायरस के प्रसार को रोकने के लिए बंद (लॉकडाउन) का सख्ती से पालन सुनिश्चित करें और इसका उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करें। केंद्र और राज्य सरकारों ने रविवार को देश भर के ऐसे 75 जिलों को 31 मार्च तक पूर्ण बंद करने का फैसला किया था जहां कोरोना वायरस से संक्रमण के मामले सामने आए हैं।

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